Header Ads

Sandeep Maheshwari most powerful motivation story।।

 ये कहानी है दो बच्चों की, जो एक गांव में रहते है । उनमें से एक 6 साल का था, और एक 10 साल का दोनों बहुत अच्छे दोस्त हैं। बिल्कुल शोले के जय और वीरू दोनों हमेशा साथ साथ रहते, साथ साथ खेलते , साथ खाते पीते, साथ साथ नहाते - धोते।  एक दिन वो  दोनों गांव से थोड़ा दूर निकल गए । और खेलते खेलते उनमें से जो बड़ा बच्चा था 10 साल वाला बड़ा बच्चा  कुएं में गिर गया । 





जोर जोर से चीखने- चिल्लाने लगा उसको तैरना नही आता अब जो दूसरा  छोटा सा बचा 6 साल का उसने अपने आसपास में देखा और उसको कोई नजर नहीं आया उसको कोई नहीं देखा जिसको वो बुला सके हेल्प के लिए  फिर उसकी नजर पड़ी एक बाल्टी पे जिसमे रस्सी बंधी हुई थी,उसने एक सेकंड भी वेस्ट नहीं किया , उसने तुरंत बाल्टी पकड़ी और कुए में फेंक दी अपने दोस्त को उसके दोस्त पकड़ा लो अपनी पूरी ताकत लगा कर उस रस्सी को पागलो की तरह खींचने लगा । खिंचता रहा खिंचता रहा खिंचता रहा , पूरी जान लगा दी उसने छोटे से बच्चे ने  6 साल बच्चे ने खिंचता रहा खिंचता रहा तब तक नही रोको जब तक उसने अपने  अपने दोस्तों का नहीं होगा तब तक नही रोको जब तक  उसने अपने दोस्त को बचा नही लिया जब तक वो बहार नही निकल गया । यह तक तो ठीक है ।यह तक तो कहानी  समझ में आती है। लेकिन हुआ क्या जैसे ही दोनों बच्चे, दोनो एक हो गए बाहर आए गले मिले हैं एक तरफ से उन्हें डर भी लग रहा था। डर था। कि अब गांव जाएंगे तो बहुत पिटाई होगी जब उनको बताएंगे हम कुआं में गिर गया और लेकिन मजे की बात ऐसा कुछ भी नहीं हुआ वह जब गांव गया और जाकर के घरवालों को बताया । बाकी गांव वालों को बताया लेकिन किसी..... ने विश्वास नहीं किया वह अपनी जगह बिल्कुल ठीक है। क्योंकि उस बच्चे में इतनी ताकत भी नहीं थी की पानी से भरी हुई वो उठा सकें इतने बड़े बच्चे को इतनी दूर से खींचना तो बहुत दूर की बात है ।  लेकिन एक बुजुर्ग गांव में उसने विश्वास कर लिया ।। उनको सब रहीम चाचा कहते थे उस गांव के सबसे समझदार बुजुर्ग मैसेज और सब को लगा कि यार यह तो कभी झूठ नहीं बोलते और यह कह रहे तो जरूर कोई ना कोई बात हुई कोई ना कोई वजह होगी जिसकी वजह से कुछ ऐसा कह रहा है । और फिर सारे गांव वाले इकट्ठे होकर उनके पास गए और जाकर के बोले देखो जी हमें तो कुछ समझ आया नहीं रहा आप ही बता दो कि ऐसा कैसे हो सकता है तो उनको हंसी आ गई वह बोले यार इसमें मैं ऐसा क्या बताऊं बच्चा बता तो रहा है उसमें कैसे किया बाल्टी को उठा कर के को फेंका उनके दोस्त ने बाल्टी को उसने रस्सी को खींचा और अपनी तो आप तो आपको पता तो है उसने कैसे किया बच्चा बता तो रहा है इसमें मैं क्या बताऊं सारे गांव वाले उनकी शक्ल देख रहे फिर कुछ देर बाद वह बोले कि सवाल यह नहीं है कि वह छोटा सा बच्चा यह कैसे कर पाया सवाल यह है कि यह क्यों कर पाया कि उसके अंदर इतनी ताकत कहां से है ओ भोले किसका सिर्फ एक जवाब है सिर्फ है जिस वक्त उस बच्चे ने यह किया उस टाइम पर उस जगह पर दूर-दूर तक कोई नहीं था उस बच्चे को बताने वाला कि तू यह नहीं कर सकता उधर कोई नहीं था कोई नहीं यहां तक कि वह खुद भी नहीं खुद भी नहीं





कोई टिप्पणी नहीं:

यह ब्लॉग खोजें

Blogger द्वारा संचालित.