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Leoni Messi Biogharphy in motivational story in hindi

 आज के समय में अगर फुटबॉल की बात की जाए और उसमें मेसी रोनाल्डो और नेमार इन तीन खिलाड़ियों का जिक्र ना हो ऐसा तो पॉसिबल नहीं है|


 और जहां तक मुझे पता है कि अगर फुटबॉल में कोई भी इंसान थोड़ा सा भी इंटरेस्ट रखता होगा तो वह इन खिलाड़ियों को तो जानता ही होगा, हालांकि आज मैं इस पोस्ट में एक महान खिलाड़ियों में से लियोनेल मेसी के बारे में बात करने जा रहा हूं| दोस्तों अब फुटबॉल के खेल में मेसी की महानता और उनकी फैन फॉलोइंग का अंदाजा इसी बात से लगा सकते हैं कि अर्जेंटीना में उनकी वजह से एक नियम बनाना पड़ा था |

वहां पर माता-पिता अपने बच्चों का नाम मेसी नहीं रख सकते थे | क्योंकि वहां के विशेषज्ञ इस बात से करने लगे थे ,कि आने वाले कुछ सालों में मेसी के बच्चों की संख्या इतनी ज्यादा हो जाएगी कि देश में बच्चों के पहचानता बहुत बड़ा संकट पैदा हो जाएगा तो दोस्तों वैसे तो मेसी के बाल की सफलता को हर कोई जानता है, लेकिन उन्होंने जिस संघर्षों के बाद यह मुकाम हासिल किया है, 

यह शायद बहुत कम लोगों को पता होगा तो चलिए बिना आपका समय खराब किए हुए हम शुरू से मेसी के संघर्ष से सफलता के बारे में डिटेल में जानते हैं लियोनेल मेसी का जन्म 24 जून 1987 को अर्जेंटीना में हुआ था उनके पिता का नाम चार्ज मेसी था | जो एक फैक्ट्री में मजदूर के तौर पर काम करते थे और उनकी मां का नाम सिलियम मारिया था इसके अलावा उनके दो बड़े भाई और एक बहन भी हैं जिनमें भाइयों का नाम  रोड्रिगो और मॉरिशियस है

 और उनकी बहन का नाम मारिया सोलह 5 साल की उम्र से ही मेसी ने अपने पिता जॉर्ज द्वारा ट्रेनिंग दिए जा रहे घर के पास के एक क्लब ग्रैंड होली के लिए फुटबॉल खेलना शुरू कर दिया और फिर 1995 में वह अपने शहर रसोइयों की ही एक टीम न्यू ओल्ड बॉयज की तरफ से खेलने लगे मेसी 9 साल की अपनी छोटी सी उम्र में अपनी लगन और प्रैक्टिस के दम पर इतना अच्छा फुटबॉल खेलने लगे थे | कि अगर फुटबॉल उनके पास आ जाती तो 15-15 मिनट तक उसे फुटबॉल को कोई छीन नहीं पाता था और देखने वाले लोग खुशी के मारे सिक्के उछाले लगते थे सबकुछ उनके लाइफ में बहुत अच्छा चल रहा था वह अपनी मेहनत के दम पर एक अच्छे खिलाड़ी बनते हुए दिखाई दे रहे थे 

उनके घर वालों को भी फुटबॉल में उनका कैरियर साफ साफ दिखाई दे रहा था लेकिन अचानक 11 साल की उम्र में हार्मोन डिफेंसेसीश नाम की एक भयानक बीमारी हो गई दोस्तों तो बता दो कि इस बीमारी में शरीर के अंदर हार्मोन की बहुत कमी हो जाती है और अगर इसका इलाज जल्द ना कराया जाए तो शरीर का विकास रुक जाता है इस बीमारी का इलाज बहुत ही महंगा था और साथ ही साथ इसके इलाज के लिए मेसी को रोज रात में अपनी जांघों पर इंजेक्शन लगाना पड़ता था |

 जो कि बहुत दर्द नाक होता था | उन्हें इंजेक्शन को 7 दिन एक पैर में तो अगले 7 दिन दूसरे पैर में लगाना पड़ता था दोस्तों आप खुद ही सोच सकते हैं कि ऐसा करना किसी 11 साल के बच्चे के लिए कितना कठिन होता होगा | कुछ सालों तक अपना सब कुछ लगा कर के पिता ने उनका इलाज करवाया लेकिन उसके बाद उनके घर की आर्थिक स्थिति बहुत ही खराब हो गई खराब हो गई मिर्ची के इलाज में करीब 1500$ हर महीने का खर्चा और उनके पिता एक साधारण सी मजदूरी करते हुए अब उनका इलाज का खर्च नहीं संभाल पा रहे थे लेकिन मेसी ने अपने इतनी कठिन समय में भी फुटबॉल को कभी नहीं छोड़ा और अपनी पूरी जी जान लगाकर कैंडिस करते रहे और कहते हैं 
                                       ना कि अगर किसी चीज को आप सच्चे दिल से चाहो तो पूरी कायनात उसे आपसे मिलाने में जुड़ जाती है और ऐसा ही कुछ आगे इसी के साथ भी हुआ मैंसी के खेल से प्रभावित होकर उनके किसी प्रशंसक ने बार्सिलोना यूथ एकेडमी के खेल निदेशक कौशिक को मेसी की अद्भुत खेल के बारे में बताया जिसके बाद मेसी का मैच देखा और छोटे से बच्चे के खेल के दीवाने हो गए उन्होंने और उनके घर वालों से फिर उन्होंने मेसी उनके घर वालों से एग्रीमेंट किया कि मैंसी के बीमारी का पूरा खर्च उनकी टीम उठाएगी लेकिन स्पेन आकर बार्सिलोना की तरफ से खेलना होगा

  एग्रीमेंट को मेसी और उनके परिवार वालों ने खुशी-खुशी मान लिया और फिर 14 साल की उम्र में मेसी अपने परिवार के साथ स्पेन चले गए और उन्होंने बार्सिलोना यूथ अकैडमी लॉ माफिया के युवा टीमों में खेलना शुरू किया और वहां भी उन्होंने अपने जादुई खेल से सबको प्रभावित कर दिया किसी ने 16 नवंबर 2003 को फोटो के खिलाफ फ्रेंडली मैच में अपने क्लब की टीम की तरफ से खेलते हुए अपने खेल जीवन की शुरुआत कि वह उस समय केवल 16 साल और 145 दिन के थे उन्होंने 17 अगस्त 2005 को 18 साल की उम्र में हंगरी के खिलाफ अपना पहला अंतरराष्ट्रीय मैच खेला और फिर उसके बाद से उन्होंने कभी भी पीछे मुड़कर नहीं देखा और सफलता के झंडे गाड़ दे रहे 2012 में 1 साल में सबसे ज्यादा गोल करने की वजह से मिर्ची का नाम गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में शामिल किया गया इस साल उन्होंने 91 गोल दागे थे

 और उन्होंने जर्मनी के महान फुटबॉलर गेट बॉलर का का रिकॉर्ड तोड़ा था इससे पहले 1972 में 1 साल में कुल 50 गोल किए थे मेसी ने 2004 से 2016 तक बार्सिलोना के लिए 348 मैच खेले और उसमें उन्होंने 312 गोल दागे थे स्पेनिश 300 गोल करने वाले मस्ती  एकमात्र खिलाड़ी 2014 की विश्व कप में रहते हुए 2014 की विश्व कप में मेसी के रहते हुए ही अर्जेंटीना की टीम ने फाइनल तक का सफर तय किया और मेसी को गोल्डन बॉल के खिताब से नवाजा गया दोस्तों बता दूं कि गोल्डन बॉल पुरस्कार फुटबॉल विश्व कप के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी को दिया जाता है 


इसके अलावा भी उन के बहुत सारे रिकॉर्ड से जिन्हें तोड़ पाना किसी भी खिलाड़ी के लिए बहुत बड़ी बात होगी आखिरकार कोपा अमेरिका कप 2016 में उनकी टीम के फाइनल की हार से मेसी के मन पर बहुत गहरा झटका लग गया और वह अपनी हार से इतने दुखी हो गए उन्होंने संन्यास लेने का फैसला कर लिया दोस्तों मिस्सी ने अपने 29 साल की उम्र में ही अपने संघर्ष के दम पर वह सब कर लिया मुझे खिलाड़ी को सबसे महान बनाने के लिए काफी है,

                              मेसी पिता एक साधारण से मजदूर थे जो अपने परिवार का खर्च भी बहुत मुश्किलों से चलाते थे 11 साल की छोटी सी उम्र में मेसी ने हारमोंस डिफिशिएंसी जैसी खतरनाक बीमारी का भी सामना किया लेकिन उन्होंने कभी भी अपनी मुश्किलों को अपने लक्ष्य के बीच नहीं आने दी और प्रयासों को जारी रखते हुए अपने आप को इस दुनिया के सबसे बेहतरीन खिलाड़ियों में शामिल किया दोस्तों अगर आप भी अपनी लाइफ में भी किसी मुश्किलों से गुजर रहे हैं एक बात याद रखिए की पोस्ट के लिए केवल 3 लोगों के हिस्से में आती हैं
                                             वही लोग इसी बेहतरीन तरीके से अंजाम देने की ताकत रखते हैं आपका बहुमूल्य समय देने के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद इस पोस्ट को लाइक करके आप हमारा मनोबल बढ़ा सकते हैं दोस्तों अगर आप हमारी पोस्ट को मिस नहीं करना चाहते तो कृपया इस पोस्ट को फॉलो कर ले आपको यह कहानी कैसी लगी हमें कमेंट करके जरूर बताएं धन्यवाद



रिसेंटली आपने सुना होगा पीएसजी पेरिस जर्मन क्लब ने मेसी के साथ 2 साल का कॉन्ट्रैक्ट किया है खोल दो साल के कॉन्ट्रैक्ट में मैसेज को ₹305 और 250 करोड़ रुपए बोनस मिलेगा सवाल यह है  
                             कि मैं सी को इतना बड़ा ऑफर क्यों देगा जिस वक्त मेथी के साथ कॉन्ट्रैक्ट साइन हुआ उसके 24 घंटे के अंदर अंदर पीएलसी ने 832000 मेसी के नाम से जर्सी या बेच डाली इससे पीएसजी को 781 करोड़ रुपए का फायदा होगा  
अब आप समझ गए होगे कि पीएसजी नहीं इतना बड़ा ऑफर इतने सारे पैसे मेसी को क्यों दे रहे हैं


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